Wednesday, July 12, 2017

कल, मुझे ही तलाशते रहोगे, देखना!

बादलों की तरह किसी दिन,बरस जाओगे देखना
मेरे बिन, तुम एक रोज, तरस जाओगे देखना ।
ये माना!  कि, आज,किसी काबिल नही हूं तेरे।
कल मुझे ही तलाशते रहोगे, हरतरफ, देखना ।
©®राहुल फ़राज़

Friday, July 07, 2017

ज़ख्मो पे, आंसू मलना अच्छा लगा

पहली बारिश में भीग कर अच्छा लगा 

रो कर तुम्हारी यादों में , अच्छा लगा 

वो मेरी पलकों का रह रह कर, बरसाना 

यूं ज़ख्मो पे,यूं आंसू मलना अच्छा लगा

©®राहुल फ़राज़

कहा आतीं है ,रातों में नींद आजकल

कहां आतीं है मुझे, रातों में नींद आजकल
तुम्हे भी कहां फ़ुर्सत, की, ख्वाबों में आओ
समेट तो लूँ एक बार तुम्हे, अपनी बाहों में
मज़ाल है, कि, फिर तूम, निकल के जाओ
©®राहुल फ़राज़

Monday, July 03, 2017

इबादत मेरे हक़ में करना

सुनो! कर ही रही हो इबादत,
तो, मेरे हक़ में करना !
तेरे बिन मैं, तिल-तिल कर मरूं,
बस यही दुआ करना !!
©®राहुल फ़राज़
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प्यार वफ़ा इश्क की बातें, तुम करोगे ?प्यार वफ़ा इश्क की बातें, तुम करोगे ?

प्यार वफ़ा इश्क की बातें, तुम करोगे ? इमानो दिल,नज़ीर की बातें तुम करोगे ? तुम, जिसे समझती नही, दिल की जुबां मेरी आँखों मे आँखें डाल,बातें तुम...